प्रेस विज्ञप्ति

दिनांक 17 जुलाई, 2015

- केन्द्रीय मंत्री मान. श्री थावरचन्द गहलोत ने जनकल्याण हेतु विधायी प्रक्रियाएँ-कैसे निभाएँ सदस्य अपनी प्रभावी भूमिका ? विषय पर व्याख्यान प्रस्तुत किया.
- विधानसभा में प्रबोधन कार्यक्रम का दूसरा दिन
 

छत्तीसगढ विधानसभा सचिवालय में मान. सदस्यों के लिए आयोजित प्रबोधन कार्यक्रम के दूसरे दिन के प्रथम सत्र में केन्द्रीय मंत्री मान. श्री थावरचन्द गहलोत ने जनकल्याण हेतु विधायी प्रक्रियाएँ-कैसे निभाएँ सदस्य अपनी प्रभावी भूमिका ? विषय पर व्याख्यान प्रस्तुत किया। इसके पूर्व विधानसभा परिसर में केन्द्रीय मंत्री मान. श्री थावरचन्द गहलोत का स्वागत विधानसभा अध्यक्ष मान. श्री गौरीशंकर अग्रवाल, नेता प्रतिपक्ष श्री टी.एस.सिंहदव एवं विधानसभा के प्रमुख सचिव श्री देवेन्द्र वर्मा ने किया। इस अवसर पर मान. मंत्रीगण, मान. संसदीय सचिव एवं मान. विधायकगण उपस्थित थे।

छत्तीसगढ विधानसभा में मान. सदस्यों के दो दिवसीय प्रबोधन कार्यक्रम के द्वितीय दिवस आज प्रथम सत्र में अपने उद्बोधन में केन्द्रीय मंत्री मान. श्री थावरचन्द गहलोत ने कहा कि-विधि निर्माण विधान मंडल का प्रमुख दायित्व है । भारत के संविधान के अधीन देश के लिए संसद/ विधान मंडल सर्वोच्च निकाय हैं जो विधि का निर्माण कर सकते है साथ ही उसकी निगरानी करना भी इनका महत्वपूर्ण कार्य है । विधानसभा जनसामान्य से सीधे निर्वाचित संस्था है अतः वह ऐसे विधि का निर्माण करती है जिसमें जनसामान्य की सामाजिक एवं आर्थिक आवश्यकताएं प्रतिबिंबित होती है तथा जिनसे उनकी आशाओं एवं आकांक्षाओं की पूर्ति होती है । उन्होने कहा कि विधि निर्माण का कार्य तकनीकी स्वरूप का होता है अतः विधायी प्रक्रिया में भाग लेने के लिए मान. सदस्यों को विषय एवं प्रक्रिया का अध्ययन अवश्य करना चाहिए । उन्हें प्रक्रिया एवं कार्य संचालन नियमावली के अलावा संवैधानिक प्रावधानों का भी ज्ञान होना आवश्यक है । उन्होने शासकीय एवं गैर सरकारी सदस्यों के विधेयक की प्रक्रियाओं एवं सभा में उनके पारण होने तक की प्रक्रियाओं की विस्तृत जानकारी भी मान. सदस्यों को दी ।
 

मान. श्री थावरचन्द गहलोत ने छत्तीसगढ विधानसभा द्वारा अल्प समय में प्राप्त की गई उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए कहा कि छत्तीसगढ के मान. सदस्यों को इस विधानसभा की गरिमा को बनाये रखने के लिए जनता ने उन्हें जो दायित्व सौंपा है, मान. सदस्यों को उसे पूरा करने के लिए सतत् प्रयास करना चाहिए क्योंकि ज्ञान प्राप्त करने की कोई उम्र एवं सीमा नहीं होती ।

विधानसभा अध्यक्ष मान. श्री गौरीशंकर अग्रवाल ने अपने व्यस्ततम् कार्यक्रम के बावजूद इस प्रबोधन कार्यक्रम में छत्तीसगढ विधानसभा का आमंत्रण स्वीकार करने के लिए केन्द्रीय मंत्री श्री थावरचन्द गहलोत के प्रति आभार व्यक्त किया ।

इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष मान. गौरीशंकर अग्रवाल एवं नेता प्रतिपक्ष श्री टी.एस.सिंहदेव ने केन्द्रीय मंत्री मान. श्री थावरचन्द गहलोत का शाल, श्रीफल से सम्मान किया एवं उन्हें प्रतीक चिन्ह भेंट किया । इस अवसर पर विधानसभा के प्रमुख सचिव श्री देवेन्द्र वर्मा भी उपस्थित थें ।